मुझे गोदी में ले एक बार फिर से माँ,
मेरी बचपन की यादों को दोबारा से नया एक बार करदे माँ।
मुझे है याद कब भी मैं कभी बेचैन होता था,
मुझे आगोश में लेकर सीने से लगाती थी, मुझे लोरी सुनाती थी।
मुझे हर डर से, दुःख से बचाती थी।
मुझे महसूस होता था के मैं जन्नत में सोता हूँ।
तेरी आगोश की हिद्दत, तेरे आँचल की वो ठंडक में अब भी चाहता हूँ माँ।
मेरे बचपन की यादों को फिर से ताज़गी देदे, मुझे फिर से गोद में लेले,
मुझे गोदी में ले एक बार फिर से माँ!!!!!
Pushkin Channan
मेरी बचपन की यादों को दोबारा से नया एक बार करदे माँ।
मुझे है याद कब भी मैं कभी बेचैन होता था,
मुझे आगोश में लेकर सीने से लगाती थी, मुझे लोरी सुनाती थी।
मुझे हर डर से, दुःख से बचाती थी।
मुझे महसूस होता था के मैं जन्नत में सोता हूँ।
तेरी आगोश की हिद्दत, तेरे आँचल की वो ठंडक में अब भी चाहता हूँ माँ।
मेरे बचपन की यादों को फिर से ताज़गी देदे, मुझे फिर से गोद में लेले,
मुझे गोदी में ले एक बार फिर से माँ!!!!!
Pushkin Channan
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